पटना: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बुधवार को अपने मंत्रिमंडल का विस्तार किया, जिसमें भारतीय जनता पार्टी (भा.ज.पा.) के सात विधायकों को शामिल किया गया। यह विस्तार राजभवन में आयोजित एक समारोह में हुआ, जिसमें राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने इन नए मंत्रियों को पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाई। मंत्री बनाए गए विधायकों में जिबेश कुमार, संजय सरावगी, सुनील कुमार, राजू कुमार सिंह, मोती लाल प्रसाद, विजय कुमार मंडल और कृष्ण कुमार मंटू शामिल हैं। इस मंत्रिमंडल विस्तार के बाद बिहार सरकार में कुल मंत्रियों की संख्या बढ़कर 36 हो गई है।
मंत्रिमंडल विस्तार से पहले दिन में बिहार भाजपा के अध्यक्ष दिलीप जयसवाल ने “एक व्यक्ति, एक पद” की नीति के तहत अपने पद से इस्तीफा दे दिया था। यह नीति भाजपा के द्वारा अपने नेताओं के पदों में स्पष्टता रखने के उद्देश्य से लागू की गई है। दिलीप जयसवाल को पिछली बार जनवरी 2024 में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) में शामिल होने के बाद नया मंत्रिमंडल गठन करते समय राजस्व और भूमि सुधार विभाग का प्रभार सौंपा गया था। इसके बाद, जुलाई 2024 में सम्राट चौधरी के उपमुख्यमंत्री बनने के बाद दिलीप जयसवाल को भाजपा की राज्य इकाई का अध्यक्ष नियुक्त किया गया था।
यह मंत्रिमंडल विस्तार भाजपा और जदयू के बीच गठबंधन की मजबूती को दर्शाता है, जो राज्य में दोनों दलों के सामूहिक प्रयासों का परिणाम है। भाजपा के सात नए विधायकों के शामिल होने से यह संकेत मिलता है कि नीतीश कुमार की सरकार में भाजपा का प्रभाव और भूमिका बढ़ने वाली है। साथ ही, यह विस्तार प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों और समुदायों को प्रतिनिधित्व देने की ओर इशारा करता है।